Rewa News: रीवा में बिना बैच नम्बर के कोरेक्स की सप्लाई कर रहे तस्कर, पुलिस के लिए मुश्किलें बढ़ी
बैच नम्बर के आधार पर सप्लायर का पता लगाती थी पुलिस

रीवा। जिले में तस्करों और पुलिस के लिए आंख मिचोली का खेल चल रहा है। पुलिस सप्लायरों तक पहुंचने के जितने रास्ते बनाती है बदमाश उससे बचने के लिए दूसरे रास्ते बना लेते है। पुलिस बैच न बर के आधार पर सप्लायर का पता लगाकर मेडिकल स्टोर संचालकों पर कार्रवाई करती थी जिसकी वजह से अब मेडिकल स्टोर संचालक बैच नम्बर हटाकर सप्लाई कर रहे है जिसकी वाजह से सप्लायर तक पहुंचने में पुलिस को खासी परेशानियां उठानी पड़ रही है।
बताया गया है कि नशीली सिरप के तस्करों द्वारा पुलिस को चकमा देने के लिए नया रास्ता अपनाया है। यूपी से नशीली सिरप की इस समय सबसे ज्यादा रीवा आ रही है। नशीली सिरप सप्लायर यूपी से लाकर उसको रीवा जिले में सप्लाई करते है।
पुलिस विभाग शीशी के बैच नम्बर से यह जानकारी कंपनी से मंगवा लेती थी कि यह बैच नम्बर की नशीली सिरप किस मेडिकल स्टोर संचालक के नाम से सप्लाई की गई थी। उसके आधार पर मेडिकल स्टोर संचालक आरोपी बन जाता था। पुलिस ने इस तरह से कई मेडिकल स्टोर संचालकों को पकड़ा था और उनके विरुद्ध कार्रवाई करके सप्लाई चेन को तोड़ने का प्रयास किया था।
बताया गया है कि पुलिस की इस कार्यवाही का तस्करों ने तोड़ निकाल लिया है। अब सप्लायर शीशी से बैच नम्बर हटाकर नशीली सिरप की सप्लाई कर रहे है। इस समय जितनी भी नशीली सिरप पकड़ी जा रही है उन सभी में बैच नम्बर को सप्लायर द्वारा मिटा दिया जाता है जिससे पुलिस का अब सप्लायर तक पहुंचने का रास्ता बंद हो गया है। पुलिस अब सप्लायर तक पहुंचने के दूसरे रास्ते बनाने का प्रयास कर रही है।
यूपी से आ रही सबसे ज्यादा नशीली सिरप
यूपी से नशीली सिरप सबसे ज्यादा आती है। यूपी के प्रयागराज और मिर्जापुर जिले के थोक दवा व्यापारी लाइसेंस लेकर कंपनी से नशीली सिरप मंगवाते है और बाद में उसको गलत तरीके से तस्करों को देकर नशे के रूप में इस्तमाल करवाते है।
प्रयागराज और मिर्जापुर के तस्करों के द्वारा नशीली सिरप भेजी जाती है। यहां पर एक दो न हीं बल्कि दर्जनों थोक दवा विक्रेता है जो नशीली सिरप सीधे कंपनी से ट्रकों में मंगवाते है और थोड़ी-थोड़ी मात्रा में नशीली सिरप भेजते है।
तीन गुना बढ़े नशीली सिरप के दाम
नशीली सिरप की डिमांड सबसे ज्यादा है। कोरेक्स की डिमांड इतनी अधिक है कि कंपनी ने उसके रेट तीन गुना बढ़ा दिये है। यह कोरेक्स पहले 60 रुपए की मिलती थी लेकिन वर्तमान में इसकी कीमत 195 रुपये है। यहां तस्करों को ढाई सौ रुपये में मिलती है जिसको बेंचकर वे मुनाफा कमाते है।