Rewa News: रीवा में बोले कमिश्नर- बहुती नहर का कार्य 31 जनवरी तक अनिवार्य रूप से करें पूरा

सिंचाई परियोजनाओं के लिए भू-अर्जन में न करें देरी: बीएस जामोद

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रीवा। कमिश्नर बीएस जामोद ने कमिश्नर कार्यालय में आयोजित बैठक में संभाग की सिंचाई परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की। बैठक में कमिश्नर ने कहा कि बहुती नहर परियोजना का कार्य 31 जनवरी तक अनिवार्य रूप से पूरा कराएं। जिससे किसानों को सिंचाई के लिए पानी मिल सके। नहर में लाइनिंग, मुख्य गेट और बायोडक्ट का कार्य 15 जनवरी तक पूरा कराएं। इस परियोजना से 65 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई की सुविधा मिलेगी। 


नईगढ़ी फ्लो सिंचाई परियोजना से भी किसानों को पानी उपलब्ध कराएं। जल संसाधन विभाग के इंजीनियर लगातार क्षेत्र का भ्रमण करके सिंचाई के लिए पानी का व्यवस्थित वितरण कराएं। किसानों से सतत संपर्क रखकर सिंचाई के संबंध में फीडबैक प्राप्त करें। किसानों द्वारा बताई गई कठिनाई को तत्काल दूर कराएं। 


बैठक में कमिश्नर ने कहा कि सिंचाई परियोजनाओं के लिए आवश्यक भू-अर्जन में देरी न करें। समय पर प्रस्ताव कलेक्टर कार्यालय में प्रस्तुत करें। जहाँ वनभूमि में निर्माण कार्य आवश्यक है वहाँ ऑनलाइन आवेदन करके वन विभाग की अनुमति प्राप्त करें। इसके लिए आवश्यक होने पर जल संसाधन और वन विभाग के अधिकारी संयुक्त रूप से भूमि का सर्वे करें। 


कार्यपालन यंत्री वन विभाग और कलेक्टर कार्यालय से संपर्क में रहकर भू-अर्जन के प्रकरणों का निराकरण कराएं। हनुमना-सीतापुर लिफ्ट इरिगेशन परियोजना के मुख्य बांध के निर्माण के लिए वन विभाग की अनुमति के बाद ही कार्य शुरू कराएं। 


दौरी सागर बांध निर्माण के लिए कलेक्टर सतना द्वारा 239 हेक्टेयर भूमि वन विभाग को उपलब्ध करा दी गई है तथा 93 हेक्टेयर भूमि प्रस्तावित की गई है। वन विभाग को प्रस्तावित भूमि हस्तांतरित करके बांध का निर्माण शुरू कराएं। बैठक में गोड़ सागर परियोजना जिला सीधी, मझगवां बांध जिला सतना तथा अन्य सिंचाई परियोजनाओं की भी समीक्षा की गई।


बैठक में मुख्य अभियंता जल संसाधन एके डेहरिया ने बताया कि सीतापुर-हनुमना लिफ्ट इरिगेशन से चार जिलों में एक लाख 20 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई होगी। इसमें वन भूमि में निर्माण कार्य तथा पर्यावरण स्वीकृति के लिए आवेदन कर दिया गया है।


 वन विभाग के साथ संयुक्त रूप से सर्वेक्षण करके भू-अर्जन की बाधाएं दूर की जाएंगी। गोड़ परियोजना में सीधी जिले के ग्राम गोतरा में 70 हेक्टेयर जमीन का भू-अर्जन किया जा रहा है। दौरी सागर बांध निर्माण के लिए वन विभाग द्वारा शर्तों के साथ अनुमति दी गई है। बांध का निर्माण कार्य अभी निजी भूमि स्वामियों से अर्जित जमीन पर शुरू किया जाएगा। बांध भरने के बाद वन क्षेत्र डूब में आएगा। 


जब तक वन विभाग की अनुमति नहीं मिलेगी तब तक बांध के गेट नहीं बंद किए जाएंगे। मंदाकिनी नदी को सदानीरा बनाने के लिए इसका निर्माण कार्य तत्काल शुरू किया जाना आवश्यक है। बैठक में संयुक्त आयुक्त एलएल अहिरवार तथा संभाग के सभी जिलों के सिंचाई परियोजनाओं के कार्यपालन यंत्री उपस्थित रहे। 


आमजनता के आवेदन पत्रों में की सुनवाई

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कमिश्नर कार्यालय में आयोजित जनसुनवाई में कमिश्नर बीएस जामोद ने आमजनता के आवेदन पत्रों में सुनवाई करते हुए संबंधित अधिकारियों को निराकरण के निर्देश दिए। जनसुनवाई में सीधी जिले के अमोल सिंह तथा जय सिंह ने गुलाब सागर परियोजना में अधिग्रहीत जमीन के मुआवजे के लिए आवेदन दिया। कमिश्नर ने कार्यपालन यंत्री जल संसाधन सीधी को आवेदन पर कार्यवाही के निर्देश दिए। 


ललिता देवी पाण्डेय निवासी सहिजना द्वारा जमीन पर अवैध कब्जा हटाने के लिए आवेदन दिया गया। कमिश्नर ने एसडीएम गुढ़ को आवेदन में कार्यवाही के निर्देश दिए। आशा कुशवाहा निवासी सेमरिया ने उनके मकान में किए गए अवैध कब्जे को हटाने का आवेदन दिया। कमिश्नर ने एसडीएम सिरमौर को प्रकरण में कार्यवाही के निर्देश दिए। सुरेश तिवारी निवासी पैपखरा ने क्योटी नहर निर्माण के लिए अर्जित भूमि के मुआवजे के लिए आवेदन दिया। 


कमिश्नर ने कार्यपालन यंत्री को आवेदन में कार्यवाही के निर्देश दिए। जनसुनवाई में कमिश्नर ने प्रमोद पाण्डेय, बृजभूषण पटेल, शशिकला त्रिपाठी, रमेश द्विवेदी, संतलाल यादव, नंदकुमार, काशी प्रसाद द्विवेदी तथा भगवान प्रसाद के आवेदन पत्रों में भी सुनवाई की। जनसुनवाई में संयुक्त आयुक्त एलएल अहिरवार तथा अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।