MP News: एमपी में बारहवीं के विद्यार्थी नहीं बदल सकेंगे विषय, सिर्फ त्रुटि सुधार का 21 तक मिलेगा अवसर
त्रुटि सुधार के लिए देना होगा 500 रुपए का अर्थदंड, माशिमं ने जारी किए दिशा-निर्देश
भोपाल। मप्र माध्यमिक शिक्षा मंडल में बारहवीं के विद्यार्थी विषय नहीं बदल सकेंगे। सिर्फ उन्हें त्रुटि सुधार का 21 दिसंबर तक का अवसर दिया गया है। इसके लिए भी 500 रुपए का अर्थदंड देना होगा। माशिमं ने इसके दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं।
मध्यप्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल की दसवीं परीक्षा पास करने के बाद 11वीं में विद्यार्थी संकाय या विषयों का चुनाव करते हैं। इसमें 11वीं में हायर मैथमेटिक्स, बायोलाजी, कॉमर्स, आर्ट्स, होम साइंस जैसे संकाय होते हंै। ग्यारहवीं में विद्यार्थी हायर मैथमीटिक्स जैसे कठिन विषयों को लेने के बाद बारहवीं में इसे बदल सकते थे।
हायर मैथमैटिक्स के स्थान पर कामर्स या आर्ट्स ले सकता था। पूर्व में माशिमं द्वारा बारहवीं में संकाय बदलने की सुविधा दी जाती थी। पिछले साल भी कुछ विशेष प्रकरणों में विषय बदलने की सुविधा दी गई, लेकिन अब मंडल ने अब यह पूरी तरह से बंद कर दिया है। इस बार भी मंडल ने बारहवीं में सिर्फ त्रुटि सुधार की सुविधा दी है।
मंडल द्वारा 11वीं से द्विवर्षीय पाठ्यक्रम लागू किया है। इससे 11वीं में एक बार कोई विषय या संकाय लेने के बाद उसे बारहवीं में परिवर्तन नहीं कर सकते हैं। भले विद्यार्थी को बारहवीं में वह विषय कठिन लग रहे हों या उसमें फेल होने की संभावना बनी हो। माशिमं के जारी दिशा-निर्देश में 21 दिसंबर तक त्रुटि सुधार परिवर्तन का अवसर दिया है।
सीबीएसई देता है संकाय बदलने की अनुमति
सीबीएसई अपने विद्यार्थियों को नवमीं से बारहवीं तक कोई भी विषय चुनाव करने की अनुमति देता है। बारहवीं में भी निर्धारित समय-सीमा में एक हजार रुपए शुल्क देकर विषय बदल सकते हैं, लेकिन माशिमं में यह सुविधा नहीं है। इससे कई विद्यार्थी परेशान होते हैं। मंडल का कहना है कि द्विवर्षीय पाठ्यक्रम होने के कारण विषय नहीं बदले जा सकते हैं।
ऑनलाइन रहेगी त्रुटि सुधार की व्यवस्था
माशिमं द्वारा जारी दिशा-निर्देश में कहा गया है कि शैक्षणिक सत्र 2025-2026 के लिए संस्था द्वारा ऑनलाइन प्रविष्टि में विषयों में की गई त्रुटि के सुधार की सुविधा 21 दिसंबर 2025 तक प्रदान की गई है। इसे 500 रुपए प्रति विषय अर्थदंड के साथ विषयों में त्रुटि सुधार कर सकते हैं।
संबंधित संस्था प्राचार्य को त्रुटि सुधार के साथ एमपी ऑनलाइन पोर्टल पर संबंधित छात्र की कक्षा 11वीं उत्तीर्ण की अंकसूची एवं इस आशय का घोषणा-पत्र अपलोड करना अनिवार्य होगा।जिन छात्रों के विषयों में त्रुटि सुधार किया गया है, उन छात्रों ने कक्षा 11वीं में उन्हीं विषयों का अध्ययन किया गया है अथवा संस्था द्वारा उन्हीं विषयों की अंकसूची छात्रों को जारी की गई है।
यदि यह पाया जाता है कि किसी संस्था द्वारा तथ्यों को छुपाते हुए गलत तरीके से विषयों में संशोधन किया गया है, तो शासकीय विद्यालय होने की स्थिति में संबंधित संस्था प्राचार्य के विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही करने के लिए आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय मध्यप्रदेश, भोपाल को लिखा जाएगा।
अशासकीय विद्यालय होने की स्थिति में संबंधित विद्यालय की संबंद्धता तत्काल प्रभाव से समाप्त की जा सकेगी। संबंधित समस्त संस्था प्राचार्य नियत तिथि तक त्रुटिपूर्ण विषय का संशोधन करना सुनिश्चित करें, उक्त तिथि के पश्चात किसी दशा में विषय संशोधन मान्य नहीं किए जाएंगे।
मंडल ने साफ किया है कि इस वर्ष कक्षा 9वीं एवं कक्षा 11वीं में अध्ययनरत छात्रों के ऑनलाइन विषयों की प्रविष्टि सावधानी पूर्वक करें, अन्यथा आगामी वर्ष से विषय संबंधी त्रुटि सुधार की सुविधा प्रदान नहीं की जाएगी और संबंधित विद्यालय या प्राचार्य के विरुद्ध कार्यवाही की जाएगी।