Mutual Fund: आधी-अधूरी केवाएसी वाले 1.30 करोड़ निवेशकों के खाते होल्ड पर; न तो पैसे निकाल सकेंगे, न ही ट्रेड कर सकेंगे

73 प्रतिशत डीमेट खाता धारकों के पास है वैध केवाएसी

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दिल्ली। अधूरी केवाइसी के कारण केवाइसी रजिस्ट्रेशन करने वाली इकाइयों (केआरए) ने करीब 12प्रतिशत निवेशकों के डीमैट और ट्रेडिंग खाते को होल्ड पर डाल दिया है। ये निवेशक इन डीमैट खातों से स्टॉक, म्यूचुअल फंड और कमोडिटी में न तो ट्रेड कर सकेंगे और न ही पैसे निकाल सकेंगे।

 

 देश के 5 केआरए ने कहा कि ये खाते सेबी के नियमों के अनुरूप नहीं हैं। इन खातों की केवाइसी अभी भी पैन और आधार के साथ अपडेट नहीं है। अधिकतर खाते की केवाइसी यूटिलिटी बिल जैसे- गैस कनेक्शन, बैंक खाता, बिजली, टेलीफोन बिल आदि का उपयोग करके किए गए थे।

 

जानकारी के अनुसार, केवाइसी को तीन कैटेगरी में बांटा है, जिनमें वैलिडेट, रजिस्टर्ड व होल्ड शामिल है। वैलिडेट केवाइसी वाले निवशकों को निवेश जारी रख सकते हैं। रजिस्टर्ड केवाइसी वाले भी निवेश जारी रख सकते हैं, लेकिन अगर वे किसी नए फंड हाउस में निवेश करते हैं या नया डीमैट खाता खोलते हैं तो दोबारा केवाइसी करानी होगी। जिनका खाता होल्ड है उन्हें तब तक निवेश या पैसे निकालने की अनुमति नहीं मिलेगी, जब तक वे आधार और पैन देकर केवाइसी वैलिडेट नहीं कराते।

 
फंड हाउस को भी राहत
सेबी ने म्यूचुअल फंड हाउस को कमोडिटीज (जिंस) और विदेशी निवेश की निगरानी के लिए एक ही फंड मैनेजर रखने की अनुमति दी है। इससे उसके प्रबंधन की लागत कम होगी। सेबी ने कहा, कमोडिटीज आधारित फंड जैसे गोल्ड ईटीएफ, सिल्वर ईटीएफ और जिंस बाजार में भाग लेने वाले फंड्स के लिए अलग से एक समर्पित फंड मैनेजर की नियुक्ति अनिवार्य नहीं होगी।