Singrauli News: एनसीएल विस्थापितों के विरोध के बाद बेरंग वापस लौटी नापी करने आई टीम
एसपीएम की टीम मौके पर पहुंच नापी टीम को दी समझाइश
सिंगरौली। एनसीएल द्वारा रोड मैप बिना जारी किए ही मंगलवार को बिना बड़ी संख्या में टीआईएसएस की टीम मोरवा क्षेत्र के जद्दूडाड़ में नापी करने पहुंच गई। नापी की जानकारी मिलते ही एसपीएम के शेखर सिंह, भूपेंद्र गर्ग, विनोद कुरुवंशी, चन्दन सिंह प्रिंस, अभ्यूदय सिंह डैनी सहित बड़ी संख्या में लोग पहुंचकर नापी का विरोध करते हुए नापी टीम के सामने अपनी बात रखते हुए कहा गया कि जब तक एनसीएल द्वारा रोड मैप जारी नही किया जाता है तब तक नापी नहीं होनी चाहिए।
विस्थापितों की बात सुनकर नापी करने आई टीम बैरंग वापस चली गई। बताया गया है कि एसपीएम की टीम पहुंचने के पहले ही स्थानीय लोग नापी का विरोध कर रहे थे। अब देखना यह है कि एनसीएल आगे रोड मैप कब जारी करता है। विदित हो कि एनसीएल द्वारा जयंत एवं दुधीचुआ खदान विस्तार हेतु मोरवा का विस्थापन करने के लिए 9 फरवारी 2024 को धारा 9 लागू किया गया है। इसके बाद सो ही मोरवा के स्थानीय लोगो में मुआवजा रेट एवं नापी को लेकर असमंजस बना हुआ है।
एनसीएल अधिकारियों के साथ हुई कई बार बैठको में भी कोई नतीजा नही आने से लोगों में एनसीएल प्रबंधन के प्रति दिनो दिन असंतोष बढ़ते जा रहा है। लेकिन अभी तक इसमें किसी भी प्रकार का एनसीएल द्वारा रोड मैप जारी नहीं किया गया है।
विस्थापित नेताओं का आरोप है की एनसीएल द्वारा अभी तक स्पष्ट नहीं किया गया है कि प्लाट कहां दिया जाएगा, जमीन, मकान, पेड़, बोर, कुंआ ,एवं अन्य संपत्तियों का रेट स्पष्ट नहीं किया गया है। सोमवार को विस्थापित नेताओं ने सरकार के कोयला एवं खनन राज्य मंत्री सतीश चंद्र दुबे से मुलाकात कर समस्याओं से अवगत कराते हुए ज्ञापन पत्र सौंपा था। इसके पूर्व भी विस्थापित नेताओं के द्वारा 24 सूत्रीय मांगों को लेकर एनसीएल व प्रशासन को ज्ञापन दिया गया था। एनसीएल द्वारा किसी भी प्रकार का रोड मैप जारी नही किए जाने से स्थानीय लोगो में एनसीएल प्रबंधन के प्रति धीरे धीरे असंतोष बढ़ते जा रहा है।